Wednesday, October 30, 2024

8 March – International Women Day – 8 मार्च – अंतर्राष्ट्रीय महिला दिवस का इतिहास जानें।
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पूरे संसार में अंतर्राष्ट्रीय महिला दिवस ‘8 मार्च’ (8 March – International Women Day) के दिन मनाया जाता है। 8 मार्च को महिलाओं की उपलब्धियों के जश्न के तौर पर मनाया जाता है। महिलाओं के लिए खास इस महत्वपूर्ण दिवस के बारे में जानते हैं…

महिला दिवस क्यों मनाया जाता है? (8 March International Women Day – )

प्रश्न यह उठता है कि अंतरराष्ट्रीय महिला दिवस क्यों मनाया जाता है। तो इसके पीछे कुछ कारण हैं। अंतर्राष्ट्रीय महिला दिवस महिलाओं के अधिकारों के लिए शुरू किया गया एक आंदोलन था, जो एक श्रम आंदोलन था। इस आंदोलन की शुरुआत 1908 में हुई जब अमेरिका के न्यूयॉर्क शहर में लगभग 15000 महिलाओं ने अपने कार्य करने के घंटों को कम करने अपने लिए पुरुषों के समान अच्छा वेतन और वोट देने के अधिकार की मांग के लिए आंदोलन की शुरुआत की और विरोध प्रदर्शन करना आरंभ किया।

उसके बाद से अमेरिका में राष्ट्रीय महिला दिवस मनाने की परंपरा की शुरुआत हो गई। लेकिन अंतर्राष्ट्रीय महिला दिवस मनाने का विचार क्लारा जेटकिन’ नाम की एक महिला के दिमाग में आया था, जब उसने 1910 में अमेरिका के कोपेनहेगन में आयोजित ‘अंतरराष्ट्रीय कांफ्रेंस ऑफ वर्किंग विमेन’ में यह प्रस्ताव पेश किया कि महिलाओं की उपलब्धियों के जश्न के लिए एक विशेष दिन मनाया जाना चाहिए।

इस कॉन्फ्रेंस में पूरे विश्व के लगभग 17 देशों से आई महिलाएं भाग ले रही थी और उसके बाद से 1911 से अंतर्राष्ट्रीय महिला दिवस के रूप में मनाया जाने लगा। तब यूरोप के कई देशों में अंतरराष्ट्रीय महिला दिवस का आयोजन किया गया। आधिकारिक रूप से 1975 में संयुक्त राष्ट्र संयुक्त राष्ट्र संघ ने 8 मार्च को अंतर्राष्ट्रीय महिला दिवस के रूप में मनाने का निर्णय लिया।

8 मार्च को ही क्यों?

प्रश्न यह है कि 8 मार्च को ही अंतर्राष्ट्रीय महिला दिवस क्यों मनाया जाता है? तो जब ‘क्लेरा जेककिन’ कोपनहेगन में आयोजित प्रेस कॉन्फ्रेंस में अंतर्राष्ट्रीय महिला दिवस का प्रस्ताव पेश किया था तो उसने कोई निश्चित तारीख प्रस्तावित नहीं की थी, लेकिन ‘अंतर्राष्ट्रीय महिला दिवस’8 मार्च’ को मनाने का संबंध रूस में हुई क्रांति से जुड़ा है।

1917 में रूस की महिलाओं ने अपने लिए रोटी और समान अधिकार तथा शांति की मांग के लिए चार दिनों का विरोध प्रदर्शन किया। जिस कारण रूस के तत्कालीन जार को अपनी सत्ता भी गवांनी पड़ी थी। जिस दिन यह लोग प्रदर्शन आरंभ हुआ था उस दिन रूसी कैलेंडर के अनुसार 23 फरवरी का दिन था लेकिन गेग्रेरियन कैलेंडर जो अंतरराष्ट्रीय कैलेंडर है, उसके अनुसार 8 मार्च का दिन था।

उसी दिन से 8 मार्च अंतर्राष्ट्रीय महिला दिवस के रूप में निश्चित हो गया। अंतरराष्ट्रीय महिला दिवस के प्रतीक के रूप में तीन रंगों को प्रयुक्त किया जाता है। बैंगनी, हरा और सफेद रंग। जहां बैंगनी रंग न्याय महिलाओं की न्याय महिलाओं के लिए समान न्याय और गरिमा का प्रतीक है। वही हरा रंग महिलाओं के लिए आशा का प्रतीक है।  सफेद रंग शुद्धता का प्रतीक माना गया है। यह तीनों रंग 1908 में महिलाओं के प्रतीक चिन्ह के रूप में ब्रिटेन में ‘विमेंस सोशल एंड पॉलीटिकल यूनियन’ द्वारा निश्चित किए गए थे।

विश्व के कई देशों में अंतर्राष्ट्रीय महिला दिवस के दिन अनेक तरह के आयोजन किए जाते हैं। क्योंकि 8 मार्च रूस के साथ विशेष रूप से जुड़ा हुआ है, इसलिए इस दिन रूस में पूरे दिन का राष्ट्रीय अवकाश रहता है। चीन में भी इस दिन महिलाओं को आधे दिन की छुट्टी मिलती है। यूरोप के अनेक देशों में अंतर्राष्ट्रीय महिला दिवस के दिन अलग-अलग आयोजन शामिल हैं। अमेरिका में तो पूरे मार्च का महीना ही महिलाओं की उपलब्धियों के महीने के तौर पर मनाया जाता है।

हर वर्ष एक नई थीम

अंतर्राष्ट्रीय महिला दिवस पर हर वर्ष एक नई थीम होती है। 2023 में अंतर्राष्ट्रीय महिला दिवस की थीम ‘एम्ब्रेस इक्विटी’ (Embrace equity) यानि ‘समानता को अपनाओ’ है।

2024 में अंतर्राष्ट्रीय महिला दिवस की थीम ‘इंस्पायर इनक्लूज़न’ है। यह थीम, महिलाओं के समावेशन को महत्व देने पर केंद्रित है। इसका मतलब है कि जब हम सभी अलग-अलग पृष्ठभूमि की महिलाओं की सराहना करते हैं, तो दुनिया बेहतर हो जाती है।

 


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